मान बेच कर सुविधा पाना-तौबा-तौबा
साहब के तलवे सहलाना- तौबा-तौबा !
मिहनत-मजदूरी का रूखा-सूखा अमृत
हया गँवा कर हलवा खाना-तौबा-तौबा!
गली-गली में, गाँव-शहर में,डगर-डगर में
नफरत का यह ताना-बाना-तौबा-तौबा !
धरती माँ के फूल भरे दामन के नीचे
पगलों का बारूद बिछाना- तौबा-तौबा!
छुपकर घायल करना,सम्मुख हाल पूछना
उनका ये अंदाज पुराना- तौबा-तौबा!
जिधर देखिए, शोख़ सियासत नाच रही है
नज़र कहीं है,कहीं निशाना-तौबा-तौबा!
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