आज सुबह जब मैं अपनी दुकान की सफाई कर रहा था तो, अचानक मेरे मन में एक प्रसंग याद आया लोग कहते हैं कि जब सीता जी सफाई कर रही थी तो उन्होंने शिव धनुष को उठाकर दूसरी जगह रख दिया | इसी को लेकर राजा दशरथ ने अपने मन में यह विचार बनाया कि जो शिव धनुष को तोड़ देगा उसी के साथ सीता का विवाह होगा |
इसी प्रसंग को याद करते हुए उत्तर प्रदेश शिक्षा प्रणाली का वह व्यंग याद आ गया, जिसमें एक जिला विद्यालय निरीक्षक किसी विद्यालय में मुआयना करने पहुंचे थे | एक कक्षा में जाकर अध्यापक से पूछा किस विषय का क्लास चल रहा है तो अध्यापक ने कहा की धार्मिक शिक्षा पढ़ाई जा रही है तो जिला विद्यालय निरीक्षक ने कहा कि बहुत अच्छा विद्यालयों में धार्मिक शिक्षा बहुत जरूरी है क्या ? मैं आपके छात्रों से कुछ पूछ सकता हूं ? अध्यापक ने कहा हां हां पूछ लीजिए जिला विद्यालय निरीक्षक ने एक छात्र से पूछा – शिव धनुष किसने तोड़ा ? छात्र ने उत्तर दिया सर मैंने नहीं तोड़ा | दूसरे छात्र से पूछा उसने भी उत्तर दिया कि मैंने नहीं तोड़ा इस प्रकार से पूरी कक्षा के छात्रों ने यही उत्तर दिया और जब महोदय ने कक्षा अध्यापक से पूछा कि यही पढ़ाते हो तो अध्यापक ने उत्तर दिया सर मेरी बात पर भरोसा कीजिए हमारे यहां के सभी छात्र बहुत सीधे सरल स्वभाव के हैं मैं गारंटी लेता हूं कि मेरे छात्रों ने नहीं तोड़ा विद्यालय निरीक्षक ने कहा कि छात्रों के साथ गुरुजनों का भी यह हाल है
इसकी शिकायत करने के लिए हुए प्रधानाचार्य महोदय के पास पहुंचे और खूब डांटते हुए कहा कि आपके विद्यालय में किसी को पता ही नहीं है कि शिव धनुष किसने तोड़ा तो प्रधानाचार्य ने उत्तर दिया आप निश्चिंत रहें विद्यालय में जो भी चीज टूटी है फूटी है उसको हम बनवा देंगे जिला महोदय ने कहा प्राचार्य का भी यही हाल है
इसकी शिकायत जिला विद्यालय निरीक्षक ने उच्च अधिकारियों से की तो वहां से जवाब मिला कि माननीय जिला विद्यालय निरीक्षक महोदय जी आपका काम है विद्यालय में शिक्षा व्यवस्था की जानकारी लेना ना की कोई चीज टूटी हो फूटी हो इसकी विद्यालय में जो भी टूटा है फूटा है जो भी इसका दोषी है हम उच्च अधिकारियों की एक समिति बनाएंगे वह विद्यालय जाकर जांच करेगी और जो भी दोषी होगा उसको सजा जरूर दी जाएगी यह है उत्तर प्रदेश शिक्षा व्यवस्था के साथ-साथ शासन का हाल
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गिरिराज पांडे पुत्र श्री केशव दत्त पांडे एवं स्वर्गीय श्रीमती निर्मला पांडे ग्राम वीर मऊ पोस्ट पाइक नगर जिला प्रतापगढ़ जन्म तिथि 31 मई 1977 योग्यता परास्नातक हिंदी साहित्य एमडीपीजी कॉलेज प्रतापगढ़ प्राथमिक शिक्षा गांव के ही कालूराम इंटर कॉलेज शीतला गंज से ग्रहण की परास्नातक करने के बाद गांव में ही पिता जी की सेवा करते हुए पत्नी अनुपमा पुत्री सौम्या पुत्र सास्वत के साथ सुख पूर्वक जीवन यापन करते हुए व्यवसाय कर रहे हैं Copyright@गिरिराज पांडे/ इनकी रचनाओं की ज्ञानविविधा पर संकलन की अनुमति है | इनकी रचनाओं के अन्यत्र उपयोग से पूर्व इनकी अनुमति आवश्यक है |