किस्मत का लिखा मिटाएंगे,
खुद अपनी तकदीर बनायेगे ।
आज जमाना मेरी हंसी उड़ा ले
अभी सब दर्द जख्म स्वीकार मुझे,
अब आवाज न कोई लगाएंगे ।
जिस दिन हमारा वक्त बदलेगा,
तब सबकी औकात बताएंगे ।।
हर आंसू को पी जायेंगे,
अब हर हाल में मुस्काएंगे ।
कैसा रहा मंजिल का सफर,
ये मैं नही,मेरे रास्ते बतलाएंगे ।।
अब जख्मों से न घबराएंगे,
हम तुफां से आंख मिलाएंगे ।
मिट जाएं तो, मिट जाएं हम
पर पीछे न कदम हटाएंगे ।।
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