इससे पहले कुछ हो जाए,
मानवता पर आँच भीषण आए,
हमे निर्भीक और मासूमियत से
मानवता पर वार रोकना होगा
यह संघर्ष है हमारे जीने की
हमें परमाणु युद्ध को रोकना होगा ।
एक है लोकतंत्र का अभीरक्षक
जिसने परमाणु हथियारों का जखीरा बनाया,
एक है साम्यवाद का नायक
जिसने परमाणु ताकत का धौंस दिखाया ।
हमे पूछना होगा इन ताकतों से
किस पर वे शासन कर पाएंगे,
जब उजड़ जाएगी मानवता तब,
नर कंकालों का साम्राज्य बसाएंगे ?
हमें नहीं चाहिए ऐसा जंग,
जिसमें पाने लायक कुछ न रहे,
ना रहे किसी की जिंदगी
और मानवीय सभ्यता उजड़ जाए ।
हमें विस्तारवादी, पूंजीवादी ताकतों से,
निडरता से सवाल पूछना होगा
यह संघर्ष है हमारे जीने की
हमें परमाणु युद्ध को रोकना होगा।
ना रह पाएंगे इस धरती पर
सारी सांसे थम जाएगी
धरती को उजाड़ने वाले सुने
वे खुद भी ना रह पाएंगे
अगर बच भी गए इस युद्ध में तो
उन अनगिनत नर कंकालों का क्या होगा?
उन्हें चैन कभी ना आएगी
इतिहास कभी ना माफ करेगा।
हमें शांति चाहिए युद्ध नहीं,
हमें तानाशाही को रोकना होगा
यह संघर्ष है हमारे जीने की
हमें परमाणु युद्ध को रोकना होगा।